परमेश्वर के प्रेम की प्रकृति क्या है?
सिकियू, सुईहुआ सिटी, हीलॉन्ग जिआंग प्रदेशजब भी मैं परमेश्वर के वचन का यह अवतरण पढ़ता हूं, "यदि तुम हमेशा मेरे प्रति बहुत निष्ठावान रहे हो, मेरे लिए तुममें बहुत प्रेम है, मगर फिर भी तुम बीमारी, दरिद्रता, और अपने दोस्तों औ…
21 दिसम्बर, 2017