32 हम तेरी आराधना करते हैं देहधारी सर्वशक्तिमान परमेश्वर
1
सत्य व्यक्त करने, इंसान का न्याय
और उसे शुद्ध करने,
अंत के दिनों में देहधारी बना ईश्वर।
तेज़ तलवार की तरह, हमारे दिल
और आत्मा को चीरते उसके वचन,
शैतान के हाथों भ्रष्ट हुए
इंसान का सत्य दिखाते हमें।
अहंकारी, कपटी, स्वार्थी और लालची हैं हम।
मर चुका हमारा विवेक, इंसान से मेल नहीं खाते हम।
झुकते हैं ज़मीन पर हम।
पाप स्वीकारते, प्रायश्चित करते,
बेहद पछताते हैं हम।
देहधारी ईश्वर, तुझे पूजते हैं हम।
तेरे वचन जीतते, शुद्ध करते हमें।
सत्य को समझकर,
दूर करते अपने भ्रष्ट स्वभाव को हम।
तेरे प्रेम के आभारी हैं हम!
तू शैतान के प्रभाव से बचाता हमें।
तेरी आराधना करते हम,
देहधारी सर्वशक्तिमान परमेश्वर।
2
हमें बचाने के लिए शर्मिंदगी सही उसने,
चुपचाप यातना, मुश्किलें सह रहा
सर्वशक्तिमान परमेश्वर।
छिपकर, दीन बनकर, हमें पोषण देता,
हमारा मार्गदर्शन करता है वो।
हमारे विकास की चिंता करता वो,
हमारा विद्रोह सह रहा है वो,
हमें बचाने के लिए सब-कुछ कर रहा वो।
ईश्वर का प्रेम और धार्मिकता
बस गए दिल में हमारे।
देहधारी ईश्वर, तुझे पूजते हैं हम।
तेरा छिपना, तेरी दीनता बहुत प्रिय हमें।
तेरे वचन और तेरा सत्य,
हमारा जीवन बन गए हैं।
तेरे प्रेम के आभारी हैं हम!
तू शैतान के प्रभाव से बचाता हमें।
तेरी आराधना करते हम,
देहधारी सर्वशक्तिमान परमेश्वर।
3
सर्वशक्तिमान स्वर्ग से बढ़कर है।
कोई न समझ सके बुद्धि उसकी।
वो विषमता की तरह
उपयोग कर बड़े लाल अजगर का,
पूर्ण बनाता अपने लोगों को।
पीड़ा और यातना के बाद,
असली चेहरा जानते हम शैतानों के सरदार का।
हम ईश्वर के वफ़ादार रहेंगे,
अपने अंत तक गवाही देंगे।
मसीह सत्य, मार्ग और जीवन है।
हम मेमने का अनुसरण करते।
हम सदा ईश्वर की धार्मिकता की गवाही देते।
देहधारी ईश्वर, तुझे पूजते हैं हम।
तेरा काम अद्भुत है, बुद्धिमानी भरा है।
शैतान को हराकर
विजेताओं का समूह बनाया है तूने।
महिमा पायी है तूने।
तू सत्य, मार्ग और जीवन है।
तेरी आराधना करते हम सदा,
देहधारी सर्वशक्तिमान परमेश्वर।