33 सर्वशक्तिमान परमेश्वर की विजय का गुणगान करो

1

सर्वशक्तिमान परमेश्वर के गुणगान का गीत गाओ।

स्वर गीत के हर दिल से निकलने दो।

दुनिया में परमेश्वर के देहधारण का गुणगान करो,

इंसान को बचाने की ख़ातिर करते वो सत्य व्यक्त।

सुनते हम वाणी उनकी,

देखते प्रकटन उनका।

आनंदित हृदय से,

लौटते हम धाम परमेश्वर के।

खाते-पीते वचन परमेश्वर के,

लेते आनंद आत्मा के कार्य का हम।

मुक्त हैं हृदय हमारे,

समझते हैं सत्य हम।


एकमात्र सत्य और शाश्वत जीवन का मार्ग हैं परमेश्वर के वचन।

होते आनंदित नये जीवन के लिये रूबरू परमेश्वर के हम।

प्रकट हुआ राज्य परमेश्वर का धरती पर, है आनंदित सिय्योन।

सर्वशक्तिमान परमेश्वर की विजय के लिये, करते उनका गुणगान हम,

करते उनका गुणगान हम।


2

सर्वशक्तिमान परमेश्वर के गुणगान का गीत गाओ, गीत गाओ।

उनके लिये हमारे प्रेम का गायन गीतों के सुरों को करने दो, करने दो।

शुद्ध करे, बचाए हमें परमेश्वर का धार्मिक न्याय, उसका गुणगान करो।

स्वीकार कर उनके वचन का न्याय,

बनते नये इंसान हम।

सहते हम शुद्धिकरण और परीक्षण,

बदले जा रहे हैं मगर भ्रष्ट स्वभाव हमारे।

सत्य पर अमल कर,

रहते रोशनी में हम।

मुक्त और आज़ाद,

करते परमेश्वर को सच्चा प्यार हम।


आज्ञा मानते,

स्तुति करते परमेश्वर की मिलकर सब जन।

क्योंकि जानते हम सर्वशक्तिमान परमेश्वर को,

ईश्वर-भीरु है हृदय हमारा।

त्याग कर शैतान को,

पा चुके हैं उद्धार परमेश्वर का हम।

सर्वशक्तिमान परमेश्वर की विजय के लिये, करते उनका गुणगान हम,

करते उनका गुणगान हम।


3

सर्वशक्तिमान परमेश्वर के गुणगान का गीत गाओ।

गीतों के सुरों को पूरी दुनिया को कँपाने दो।

स्तुति करो परमेश्वर के वचनों की, जो उसकी सर्वशक्तिमत्ता को दिखाते,

जो शैतान को पराजित करते,

विजेताओं का समूह बनाते,

जो तमाम देशों, धरती पर फैल जाते।

प्रकट होता धार्मिक राज्य मसीह का।

प्रभुत्व रखते धरती पर वचन परमेश्वर के।

हर देश, हर इंसान मिलकर करता आराधना परमेश्वर की, परमेश्वर की।

आनंद लेते स्वर्गिक आशीषों का परमेश्वर के जन।


हो गया महान कार्य पूरा परमेश्वर का, है आनंदित हर चीज़।

चमकती महिमा उनकी पूरे ब्रह्मांड में।

यही वजह है, धरती-स्वर्ग लगते नये पूरी तरह।


सर्वशक्तिमान परमेश्वर के गुणगान का गीत गाओ।

विजयी होकर लौटे हैं परमेश्वर,

है आनंदित हर चीज़।

विजयी होकर लौटे हैं परमेश्वर,

है आनंदित हर चीज़।

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